पूर्व मुख्यमंत्री और दिग्गज कांग्रेसी नेता हरीश रावत जो पिछले कुछ समय से नींबू माल्टा हिंसर और किंगोडू जैसे पहाड़ी उद्पादों पर चर्चा करते हुए नजर आ रहे थे वो अब अपने परिवार के लिए राजनीति की गलियों.
पूर्व मुख्यमंत्री(former chief minister)और दिग्गज कांग्रेसी नेता हरीश रावत(Harish Rawat)जो पिछले कुछ समय से नींबू माल्टा(lemon malta)हिंसर और किंगोडू जैसे पहाड़ी उद्पादों(mountain products)पर चर्चा करते हुए नजर आ रहे थे वो अब अपने परिवार के लिए राजनीति की गलियों में फिर निकल पड़ें है, इस बार वो अपने बेटे के लिए टिकट की मांग को लेकर चर्चाओं में है |
आपको बता दें उन्होंने हरिद्वार(Haridwar)लोकसभा सीट(lok sabha seat)से कांग्रेस हाई कमान से अपने बेटे को टिकट दिलाने की सिफारिश(recommendation)की है, वहीं हरीश रावत ने देहरादून(Dehradun)स्थित एक होटल में प्रेस वार्ता(press conference)के दौरान अपने बेटे को टिकट दिए जाने की इच्छा व्यक्त की है। हालांकि हरीश रावत के दो बेटे हैं, लेकिन उनके छोटे बेटे वीरेंद्र रावत(Younger son Virendra Rawat)बीते कुछ महीनों से हरिद्वार लोकसभा सीट पर सक्रिय हैं। वहीं हरिद्वार लोकसभा में जगह-जगह उनके होल्डिंग पोस्टर और बैनर भी लगे हैं, लिहाजा हरीश रावत अपने छोटे बेटे को ही टिकट देने की पैरवी कर रहे हैं। साथ ही प्रेस वार्ता में पूर्व सीएम हरीश रावत ने कहा कि जो लंबे समय से पार्टी के लिए काम कर रहे हैं, उन्हें पुरस्कार मिलना चाहिए। मैं सामान्य घर(normal house)से राजनीति में आया हूं। मेरा बेटा भी लंबे समय से पार्टी और संगठन(Organization)की मजबूती के लिए काम कर रहा है, इसलिए मेरी इच्छा है कि उसे हरिद्वार संसदीय सीट से टिकट मिले(got tickets)।