भवाली निवासी एक बुजुर्ग ने सरकारी तंत्र से अजीज आकर जिला विकास प्राधिकरण और जिला प्रशासन के खिलाफ मोर्चा खोल दिया है
भवाली निवासी एक बुजुर्ग ने सरकारी तंत्र से अजीज आकर जिला विकास प्राधिकरण और जिला प्रशासन के खिलाफ मोर्चा खोल दिया है। बुजुर्ग का प्राधिकरण पर आरोप है कि विभाग ने बिना जांच पड़ताल के उसकी निजी भूमि पर किसी बिल्डर को भवन बनाने के मानचित्र को स्वीकृति दे दी। न्यायालय के आदेश के बाद भी प्राधिकरण और जिला प्रशासन ने जब कोई कार्रवाई नहीं की तो अब उसे धरना प्रदर्शन का रास्ता चुनना पड़ा है।
गुरुवार को भवाली नैनीबैंड निवासी रविन्द्र कुमार साहनी ने तल्लीताल में शांतिपूर्ण धरना प्रदर्शन किया। उन्होंने कहा कि 2019 में प्राधिकरण ने उनकी निजी भूमि पर किसी बिल्डर के भवन निर्माण का नक्शा पास कर दिया। उन्हें इस बात की जानकारी तब हुई जब अगस्त 2021 में बिल्डर ने उनकी भूमि पर निर्माण कार्य शुरू किया। मामले को लेकर वह न्यायालय पहुंचे तो न्यायालय ने निर्माण कार्य पर रोक लगाने के निर्देश दिए। मगर बिल्डर द्वारा फिर भी निर्माण कार्य नहीं रोका गया। जिसके बाद वह दिसंबर में प्राधिकरण दफ्तर में धरने पर बैठे। जिस पर प्राधिकरण सचिव पंकज उपाध्याय ने तहसीलदार को तीन दिन के भीतर मामले की जांच कर रिपोर्ट पेश करने के आदेश दिए थे। मगर तहसीलदार ने 20 दिन गुजर जाने के बाद भी कोई कार्यवाही नहीं की। जिसके बाद उन्होंने कुमाऊं आयुक्त दीपक रावत की शरण ली। आयुक्त ने भी तहसीलदार को मामले की जांच कर रिपोर्ट पेश करने के निर्देश दिए। मगर एक माह गुजर जाने के बाद भी मामले में कोई कार्रवाई नहीं हो पाई है। उन्होंने कहा कि उन्हें जब तक न्याय नहीं मिलता वह इसी तरह धरने प्रदर्शन पर डटे रहेंगे।